अनिरुद्धाचार्य महाराज जी का जीवन परिचय ,जीवनी , परिवार , पत्नी , उम्र , कुल संपत्ति , ( Aniruddhacharya Maharaj Biography In Hindi , biography , family , wife , age , net worth )
दोस्तों आपने कई सेलिब्रिटी लोगों के बारे में सुना होगा उनके बारे में पढ़ा होगा लेकिन आज मैं आपको ऐसे व्यक्ति के बारे में बताने जा रहा हूं जिन्होंने अपने मधुर वाणी के माध्यम से कई लोगों की जीवन में परिवर्तन लाया है। दोस्तों उनके बारे में शायद ही कुछ लोग जानते होंगे, मैं बात कर रहा हूं परम पूज्य श्री अनिरुद्धाचार्य महाराज जी की। दोस्तों हम आपको बता दें कि अनिरुद्ध आचार्य जी महाराज भारत के प्रसिद्ध कथाकारों में से एक हैं। उन्होंने अपने शब्दों से लोगों को सही रास्ते पर लाया है। उनकी सनातन धर्म में गहरी आस्था है। अनिरुद्ध आचार्य महाराज जी ने देश के कई इलाकों और बड़े शहरों में कथा की है। सोशल मिडिया पर उनकी लाखो की फैन फोलोइंग है |
आइए दोस्तों विस्तार से जानते है, अनिरुद्धाचार्य महाराज जी का जीवन परिचय ( Aniruddhacharya Maharaj Biography In Hindi ) ।
Aniruddhacharya Maharaj Biography In Hindi अनिरुद्ध आचार्य जी का जीवन परिचय
नाम | अनिरुद्धाचार्य महाराज |
निक नेम | अनिरुद्ध |
जन्म तारीख | 27 सितम्बर 1989 |
जन्म स्थान | रेवझां गाँव, जबलपुर, मध्यप्रदेश |
उम्र | 33 साल |
शिक्षा | वेद, पुराण, उपनिषद और शास्त्रों की शिक्षा |
स्कूल | ज्ञात नही |
कॉलेज | ज्ञात नही |
धर्म | हिंदू |
नागरिकता | भारतीय |
पेशा | कथावाचक |
वैवाहिक स्थिति | विवाहित |
संपत्ति | लगभग 10 से 20 करोड़ रूपये |
अनिरुद्धाचार्य महाराज कौन है ?
- अनिरुद्धाचार्य महाराज भारत के प्रसिद्ध कथावाचक है, इनकी मधुर वाणी से कथा को सुनना लोग काफी पसंद करते हैं। बता दें कि महाराज जी बचपन से ही ठाकुर जी की सेवा और पूजा पाठ करने के लिए अपने गांव के राधा कृष्ण मंदिर में जाते थे। इसके अलावा महाराज जी गौ माता के बड़े भक्त भी है, उन्हें गौ माता की सेवा करने और गौ माता के बच्चे के साथ खेलना काफी अच्छा लगता है। दोस्तों जब महाराज जी गाय को खेत में चराने के लिए ले जाया करते थे, तब अपने साथ गीता और हनुमान चालीसा की किताब लेकर जाते थे और हर रोज गीता और हनुमान चालीसा का पाठ करते थे और अपने साथियों से भी स्मरण करवाते थे।
अनिरुद्धाचार्य जी महाराज का जन्म
- अनिरुद्धाचार्य महाराज जी का जन्म 27 सितंबर 1989 को मध्यप्रदेश के जबलपुर में हुआ। दोस्तों बता दे बुधवार के दिन नर्मदा नदी के किनारे बसे विष्णु वराह भगवान की नगरी से सिर्फ नौ किलोमीटर की दूरी पर रेंवझा गांव में, भाद्रपद मास में कृष्ण पक्ष की त्रियोदशी तिथि को हुआ था।
अनिरुद्धाचार्य जी महाराज Family
- अनिरुद्धाचार्य महाराज जी के पिता का नाम अवधेशानंद गिरी है, वह भी एक भागवताचार्य रह चुके है | इनके माता के बारे नाम के बारे में कोई जानकारी उपलब्ध नही है |
अनिरुद्धाचार्य जी महाराज Wife
- अनिरुद्धाचार्य महाराज जी की शादी हो चुकी है, इन्हें दो बच्चे भी है | इनके पत्नी के नाम के बारे में जानकारी उपलब्ध नही है |
कम उम्र में ही वेद, शास्त्र, पुराण ,गीता का अध्ययन किया
- महाराज जी को बचपन से ही कथा सुनने और सुनाने की रूचि थी और बचपन से ही धार्मिक ग्रंथों की और उनका मन हमेशा ही लगा रहता था। इसके बाद धार्मिक ग्रंथों में रूची होने के कारण महाराज जी को वृंदावन धाम में ठाकुर जी के आशीर्वाद से वेद, शास्त्र, पुराण और गीता का अध्ययन करने का सौभाग्य प्राप्त हुआ।
- दोस्तों बता दे, महाराज जी ने बहुत ही कम उम्र में ही वेद और शास्त्र का अध्ययन कर लिया था और महाराज जी ने श्री वृंदावन धाम में ही रामानुजाचार्य संप्रदाय से, संत श्री गिर्राज शास्त्री जी महाराज से दीक्षा प्राप्त की है। गिरिराज शास्त्री ठाकुर जी के परम कृपा पात्र तेजस्वी संत और परम तपस्वी है।
- इसके साथ ही महाराज जी को अयोध्या से अंजनी गुफा वाले गुरुजी से श्री राम कथा का अध्ययन प्राप्त हुआ था। फिर संपूर्ण अध्ययन करने के बाद इन्होंने अपनी जन्मभूमि पर ही पहली बार अपनी वाणी में श्री हनुमान जी महाराज जी से आशीर्वाद लेकर कथा सुनाई थी।
पूरे भारत में सनातन धर्म की ध्वजा लहराई
- दोस्तों महाराज जी की जन्मभूमि रही रेंवझा गांव में महाराज जी ने अपनी पहली कथा सुनाई थी। इसके बाद महाराज जी रुके नहीं,महाराज जी ने श्री हनुमान जी महाराज से आशीर्वाद लिया और पूरे भारत देश में सनातन धर्म का प्रचार प्रसार करने लगे, ताकि लोगों के जीवन में बदलाव आए और लोगों के अंदर भक्ति की भावना जाग सके। महाराज जी भक्ति के साथ-साथ ज्यादातर सेवा करने के कार्य में जुटे रहते हैं इन्होंने कई गरीब, असहाय और वृद्धजनों की सेवा की है।
अनिरुद्धाचार्य महाराज जी की सेवा दान और कार्य
- अनिरुद्धाचार्य महाराज एक कथावाचक है, यह अपनी मधुर वाणी से कथा सुनाते हैं। कथाओं के माध्यम से देश के लोगों को अच्छे मार्ग पर चलने को कहते हैं। ताकि समाज और देश का बहुत ही विकास हो सके और लोगों की सोच में भगवान के प्रति भक्ति हो। वे हमेशा कहते हैं लोगों को भक्ति के मार्ग पर चलना चाहिए ताकि लोगों को एक बेहतरीन जीवनशैली मिल सके।
- इन्होंने एक आश्रम की स्थापना की है इनके बारे में हम आगे आपको बताएंगे।
अनिरुद्ध आचार्य जी का आश्रम कहां है?
- महाराज जी ने 23 जनवरी 2016 को मध्यप्रदेश के इंदौर में श्री गौ गौरी गोपाल सेवा संस्थान समिति की नींव रखी। इसके बाद महाराज जी ने 16 मई 2019 को वृद्धजनों की सेवा और उनके आश्रय के लिए श्री धाम वृंदावन में गौरी गोपाल आश्रम की स्थापना की। इस आश्रम का एक ही उद्देश्य है और वृद्धजनों की सेवा, खान-पान और उनके स्वास्थ्य की देखभाल करना है।
- आश्रम में हर समय भोजन मिलता है ताकि कोई भी व्यक्ति और वृद्धजन भूखा ना सोए। दोस्तों महाराज जी अब तक अपने जीवनकाल में करीब 500 से ज्यादा कथाएं कर चुके हैं। आपको यह जानकर बड़ी खुशी होगी कि महाराज जी के द्वारा आयोजित की गई कथा और धार्मिक कार्यक्रम वृद्धजनों की सेवा करने के लिए समर्पित होता है।
- महाराज जी अपने संस्थान में गरीब लड़कियों का विवाह का कार्यक्रम कराते हैं, ताकि गरीब कन्याओं की शादी बड़े आसानी से हो सके और उनका जीवन बेहतरीन बन सके | महाराज जी बहुत से लोगों का सहारा बन चुके है, खास करके गरीब और वृद्धजनों का।
अनिरुद्ध आचार्य जी की कथा की फीस कितनी है?
- जैसे कि दोस्तों हमने आपको बताया अनिरुद्ध आचार्य जी महाराज भारत के प्रसिद्ध कथा वाचक में से एक है। उन्होंने अपने वाणी के माध्यम से लोगों को सही मार्ग पर लाया है। उनके सनातन धर्म के प्रति खूब आस्था है। अनिरुद्ध आचार्य महाराज जी देश के कई इलाकों तथा बड़े-बड़े शहरों में कथा कर चुके हैं।
- अनिरुद्ध आचार्य जी महाराज भागवत कथा सुनने और देखने के लिए लाखों की संख्या की भीड़ उमड़ती है। अब सवाल आता है कि इतने बड़े प्रसिद्ध कथावाचक कि फीस कितनी होती है। दरअसल बता दे की अनिरुद्ध आचार्य जी महाराज जी एक दिन की कथा की फीस 1 लाख रूपये लेते हैं | कहने का मतलब यह होता है | कि अगर आप 7 दिन कथा का आयोजन करते हैं, तो आपको 6 से 7 लोग रुपए देने पड़ सकते हैं।
अनिरुद्धाचार्य महाराज की कुल संपत्ति Anirudhachary maharaj net wort
- अनिरुद्धाचार्य महाराज की कुल संपत्ति करीब 10 से 20 करोड़ से भी ज्यादा बताई जाती है।
अनिरुद्धाचार्य महाराज जी के विवाद
- अनिरुद्ध आचार्य महाराज जी ने अपने कथा के माध्यम से कई लोगों को सही मार्ग पर लेकर आए हैं। उन्होंने कई लोगों के अंदर धर्म के प्रति सद्भावना जगाई है। दोस्तों जो व्यक्ति जितना सफल होता है, उनके साथ विवाद होते रहते है। कुछ ऐसा ही विवाद अनिरुद्ध आचार्य महाराज जी के साथ हुआ है।
- दोस्तों बता दे की वर्ष 2023 के अप्रैल महीने में प्रसिद्ध कथावाचक का अनिरुद्ध आचार्य महाराज जी को धमकी भरा पत्र मिला था। उस पत्र में उनको 1 करोड रुपए देने की मांग की गई थी और ऐसा न करने पर उन्हें यह भी धमकी दी गई थी कि उनका आश्रम बम से उड़ा दिया जाएगा।
इसके बाद अनिरुद्ध आचार्य जी महाराज जी ने धमकी भरे पत्र को लेकर प्रतिक्रिया दी और सामूहिक घोषणा करते हुए बताया कि उन्हें यह धमकी भरा पत्र मिला है। - धमकी भरे पत्र मिलने के बाद अनिरुद्ध आचार्य महाराज जी का कहना था, कि भारत को हिंदू राष्ट्र घोषित करने की मांग उठाई गई है। शायद यही बात हो सकती है की उन लोगों को भारत को हिंदू राष्ट्र घोषित करने की मांग अच्छी नहीं लगी हो।
अनिरुद्धाचार्य महाराज से जुड़ी रोचक बातें
- महाराज जी ने बचपन में ही वेद शास्त्र, पुरान और गीता का ज्ञान हासिल किया था।
- श्री महाराज जी बहुत छोटी सी उम्र में ही देश के बड़े-बड़े कथावाचको को पीछे छोड़ चुके हैं।
- श्री महाराज जी अभी तक पूरे देश में करीब 500 से ज्यादा कथाएं कर चुके हैं।
- महाराज जी की कथा सुनाने की शैली बहुत ही सरल और सुंदर है।
- वृद्धजनों की सेवा और उनकी देखभाल करने के लिए महाराज जी ने मध्यप्रदेश के इंदौर में 23 जनवरी 2016 को श्री गौ गौरी गोपाल सेवा संस्थान समिति की नींव रखी थी।
- इसके बाद महाराज जी के द्वारा 16 मई 2019 को गौरी गोपाल आश्रम की स्थापना की गई थी।
- इन्होंने अपने कथाओं के माध्यम से कई लोगों के जीवन में बदलाव लाया है।
FAQ
अनिरुद्ध जी का जन्म कब हुआ था ?
27 सितम्बर 1989
अनिरुद्ध जी के माता पिता कौन है ?
अवधेशानंद गिरी
अनिरुद्ध आचार्य के पास कितनी संपत्ति है?
10 से 20 करोड़ रूपये
अनिरुद्ध आचार्य जी की शादी कब हुई थी?
ज्ञात नहीं
अनिरुद्ध आचार्य जी की पत्नी कौन है?
ज्ञात नहीं
अनिरुद्ध आचार्य जी का आश्रम कहां है?
इन्दौर
अनिरुद्ध आचार्य जी की उम्र कितनी है?
33 वर्ष
अनिरुद्ध आचार्य के कितने बच्चे हैं?
दो बच्चे
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अंतिम शब्द :
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